NZ vs PAK IPL 2025: पाकिस्तान और न्यूजीलैंड के बीच जारी वनडे सीरीज के पहले मुकाबले में एक खास नजारा देखने को मिला। कीवी टीम से पाकिस्तान के एक पूर्व क्रिकेटर का बेटा मैदान में उतरा। घरेलू क्रिकेट में शानदार प्रदर्शन कर चुके अजहर अब्बास के बेटे मोहम्मद अब्बास (Mohammad Abbas) ने न्यूजीलैंड के लिए डेब्यू किया। 21 साल के अब्बास ने अपने पहले ही मैच में 26 गेंदों पर 52 रनों की धमाकेदार पारी खेली।
इस दौरान उन्होंने तीन चौके और तीन छक्के जमाए। अपने डेब्यू मुकाबले में अब्बास ने 200 की स्ट्राइक रेट से बल्लेबाजी कर सनसनी मचा दी। उन्होंने मात्र 24 गेंदों में अर्धशतक ठोककर वनडे डेब्यू पर सबसे तेज फिफ्टी का वर्ल्ड रिकॉर्ड अपने नाम कर लिया। इस शानदार प्रदर्शन के साथ उन्होंने भारत के क्रुणाल पंड्या का रिकॉर्ड तोड़ दिया, जिन्होंने अपने डेब्यू वनडे में 26 गेंदों पर फिफ्टी बनाई थी।
पिता तो नहीं कर सके डेब्यू लेकिन बेटे ने रच दिया इतिहास
अजहर अब्बास ने पाकिस्तान के घरेलू क्रिकेट में 21 फर्स्ट-क्लास, 15 लिस्ट-ए और 19 टी20 मुकाबले खेले, लेकिन उन्हें कभी इंटरनेशनल क्रिकेट में खेलने का मौका नहीं मिला। हालांकि, उनके बेटे मोहम्मद अब्बास में बचपन से ही क्रिकेट का जुनून था। मात्र तीन साल की उम्र से वे इस खेल की ओर आकर्षित थे
न्यूजीलैंड क्रिकेट ने उनकी प्रतिभा को पहचाना और 16 साल की उम्र में उन्हें अपने टैलेंट डेवलपमेंट प्रोग्राम में शामिल कर लिया। उनकी कड़ी मेहनत और समर्पण का नतीजा अब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर देखने को मिला, जब उन्होंने अपने पहले ही वनडे में इतिहास रच दिया।
न्यूजीलैंड ने ठोके 345 रन
न्यूजीलैंड ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी का फैसला किया और मोहम्मद अब्बास की विस्फोटक पारी के दम पर 50 ओवर में 9 विकेट पर 344 रन बना दिए। अब्बास के अलावा मार्क चैपमैन ने भी शानदार 132 रनों की पारी खेली, जिससे टीम मजबूत स्थिति में पहुंची।
अब्बास की आक्रामक बल्लेबाजी ने पाकिस्तानी गेंदबाजों पर जबरदस्त दबाव बना दिया, जिससे न्यूजीलैंड ने पाकिस्तान के सामने 345 रनों का विशाल लक्ष्य खड़ा किया। पाकिस्तानी मूल के इस युवा खिलाड़ी ने अपनी जन्मभूमि की टीम के खिलाफ ऐसा प्रदर्शन कर सभी को चौंका दिया।
यह साबित करता है कि टैलेंट किसी देश या सीमा का मोहताज नहीं होता। अपने डेब्यू मैच में ही अब्बास ने बता दिया कि वे न्यूजीलैंड क्रिकेट के भविष्य का बड़ा नाम बन सकते हैं। अब सबकी निगाहें इस पर हैं कि क्या पाकिस्तान इस चुनौतीपूर्ण लक्ष्य को हासिल कर पाएगा? आपका क्या राय है कॉमेंट में जरूर बताएं!